तू ना मेरा वायदा देखता है, ना इरादा देखता है फकत मुझ से दूर जाने का कोइ कायदा देखता है दिले नासाज से इतनी बेरुखी भी अच्छी नहीं होती क्यो हर वकत किसी डूबी कंपनी में फायदा देखता है कंपनी