खिड़कियों से रोज़-ओ-शब महताब मत देखा करो बावले हो जाओगे, यूँ ख़्वाब मत देखा करो देखने का शौक़ है तो फ़ूल खिलते देखलो हर घड़ी अख़बार में तेज़ाब मत देखा करो saurabh 'सदफ़' tezaab #nojoto #nojotofficial #nojotohindi #thoughts #poem #shayari #shayri #poetry #qoutes