सोच ऐसी हो कि.. जब भी मौत हो तो.. सामने अपने हों और.. दिल में किसी की यांदे जो.. रूकती.. चलती..रूकती...चलती... हुयी गले तक पहुंचे और.. जुबां से उतरे और.. उसके नाम पर ही सोच बंद हो Naveen....✍✍ तेरी सोच ही हो