कलम मेरी कलम से कुछ यूं निकला है बयां ऐ दोस्त पैगाम अपना तो हाल भी वैसा है, जैसे कोई टूटा हुआ मकान, लगा था कि तुम से दोस्ती करके हम सुधार जायगे पर अब जाना कि हम तो अब और बिगड़ जाए गए जाने अनजाने में दोस्ती का मतलब