ख़्यालों की दुनिया मेरे ख़्यालों की दुनिया कुछ ज़्यादा अलग नहीं, रंगीन व स्फूर्तियुक्त व गतिशील ज़रूर है दोस्तों। वहाँ आलीशान बंगले, गाड़ी व चौड़ी सड़कें नहीं, बड़े दिलवालों के घरोंदे, पगडंडियाँ पतली हैं दोस्तों। भीड़ नहीं है वहाँ, किसी को हराने की होड़ नहीं, चंद चहरों की चमक रोशन करती है शाम दोस्तों। क्या कहूँ वहाँ अनादर, रोश, चालाकी भी नहीं, परस्पर सहयोग, सामूहिक भाव व प्रेम है दोस्तों। आप कहोगे ऐसी दुनिया असली हो सकती कतई नहीं, ख़्यालों को ज़रा सींच लो सच्चे दिल से दोस्तों, फिर वो घरोंदे, पगडंडी, चहरे व शामें ही नहीं, ख़्यालों की दुनिया हकीकत से फीकी लगेगी दोस्तों।। #kksc35 #कोराकाग़ज़ #विशेषप्रतियोगिता #ख़्यालोंकीदुनिया #collabwithकोराकागज़