ये मेरे दिन, जो तेरे बिन, गुज़रते जा रहे हैं... मुझे, तुझसे दूर लेते जा रहे हैं, अब ख़त्म भी करो सिलसिला, मेरी मोहब्बत की आज़माईशों का, कि आजकल मेरा क़ल्ब, बहुत ही आशुफ़्ता सा रहने लगा है, एक आस है तेरे लौट आने की, लेकिन ना जाने क्यूँ, अब वह भी अब्तर सा नज़र आनें लगा है...!!! "मेरे दिन तेरे बिन" "क़ल्ब - दिल" "आशुफ़्ता - घबराया हुआ" "अब्तर - बिखरा हुआ" #yqquotes #yqbaba #yqdidi #yqquotesmine