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आंखे ऐसी जैसे, कि गुलाब की पंखुड़ी, होंठ ऐसे जैसे,

 आंखे ऐसी जैसे, कि गुलाब की पंखुड़ी,
होंठ ऐसे जैसे, कि हो गुलाब की कली,
इतनी खूबसरत, कि खुद वो एक गुलाब थी,
अब कैसे कोई उस गुलाब को गुलाब दे?

-आर्यन
#RoseDay
 आंखे ऐसी जैसे, कि गुलाब की पंखुड़ी,
होंठ ऐसे जैसे, कि हो गुलाब की कली,
इतनी खूबसरत, कि खुद वो एक गुलाब थी,
अब कैसे कोई उस गुलाब को गुलाब दे?

-आर्यन
#RoseDay
themra36348

theMr_A3

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आंखे ऐसी जैसे, कि गुलाब की पंखुड़ी, होंठ ऐसे जैसे, कि हो गुलाब की कली, इतनी खूबसरत, कि खुद वो एक गुलाब थी, अब कैसे कोई उस गुलाब को गुलाब दे? -आर्यन #roseday