Nojoto: Largest Storytelling Platform

हा जरासी कशमकश में चूर हूं पर कभी ना था, कभी मजबूर

हा जरासी कशमकश में चूर हूं
पर कभी ना था, कभी मजबूर हूं

हमपे अपना मत जताना रौब तुम
मैं जनम से ही जरा मग़रूर हूं

कोई मुझको क्यों सिखाए तौर मेरा 
जब में अपने आप को मंजूर हूं
- विश्वनाथ घाणेगांवकर
 #urdushayari #urdugajal #urdupoetry #vishwapoetry #attitudepoetry
हा जरासी कशमकश में चूर हूं
पर कभी ना था, कभी मजबूर हूं

हमपे अपना मत जताना रौब तुम
मैं जनम से ही जरा मग़रूर हूं

कोई मुझको क्यों सिखाए तौर मेरा 
जब में अपने आप को मंजूर हूं
- विश्वनाथ घाणेगांवकर
 #urdushayari #urdugajal #urdupoetry #vishwapoetry #attitudepoetry
vishwa8614293492764

VISHWA

New Creator