जीवन का हर पल बेकार होते अगर कुछ कमीने यार ना होते हर कांड में एक दूसरे के साथ होते गर फस गए तो अपना नाम बताते फर्क नही था के किसके बटुए में कितने पैसे हैं जो भी खाते मिल बांट के खाते वो अपना प्यार गाली दे के जताते हो नम आँखे तो अजीब सी हरकत कर हँसते वो नुक्कड़ की चाय और लड़कियों की टोली ये तेरी वाली ये मेरी वाली कह सब चिढ़ाते आज पैसे कमाने की होड़ में कुछ दूर हो गए यार सारे लेकिन जब भी मिलते हैं उसी कमीनेपन पे उतर आते #december#kamineyar#day08