आत्मायें प्रकट हुई 👣👣👣👣👣👣👣👣 आत्मायें प्रकट हुई! पितर पक्ष में! अनंत आत्मायें थी! पिता, परम पिता.. और बिछड़े सभी.. परमात्मायें थीं! अब परिवार पूरा विश्व था! सब के भले की चाहत थी! वो अब भूख प्यास.. चाहत खुशी गम से मुक्त थे! हमसे कहना चाहते थे! पर कह नहीं पाये.. फिर भी मैने समझ लिया.. जिन्दगी मरने के ही बाद है! इस जहां पर झूठा विश्वास है! फिर से वो अदृश्य हो गये! आप 🙏🙏🙏🙏🙏🙏 हरीश वर्मा हरी बेचैन 8840812718 आत्मायें प्रकट हुई 👣👣👣👣👣👣👣👣 आत्मायें प्रकट हुई! पितर पक्ष में! अनंत आत्मायें थी! पिता, परम पिता.. और बिछड़े सभी.. परमात्मायें थीं!