कभी किसी को उसकी, मासूम शक्ल पर तरस न आए.. बेशक मौत आ जाए पर, कभी किसी पर दिल न आए... दिल अगर टूटता है मेरा, कमबख़्त टूट ही क्यों न जाए... बेशक मौत आ जाए पर, कभी किसी पर दिल न आए.... इस दिल को तोड़ने वाला, कभी सुकून से न जी पाए....... बेशक मौत आ जाए पर, कभी किसी पर दिल न आए... मेरी बला से तो वो चाहें, आज और अभी मर जाए...... बेशक मौत आ जाए पर, कभी किसी पर दिल न आए.. ©Poet Maddy कभी किसी को उसकी, मासूम शक्ल पर तरस न आए.. #Ever#Innocent#Face#Death#Heart#Break#Live#Peacefully#Blessing#Die..........