गर्भ से लेकर गलियों तक, नहीं सुरक्षित कोई नारी डरो ऊपरवाले से, आता वक्त पड़ेगा सब पर भारी। ©purnima गर्भ से लेकर गलियों तक, नहीं सुरक्षित कोई नारी डरो ऊपरवाले से, आता वक्त पड़ेगा सब पर भारी।