वो यूं बैठे हैं मेरे सब्र की इन्तेहा देखने को बनादो पत्थर, तरसोगे मेरी सिकन देखने को वफ़ा क्या है,रखते होंगे उम्मीद जमाने वाले हम मिलेंगे कहिं राह मे तेरी बेवफ़ाई देखने को ©Lalit Kumar सब्र की इन्तेहा #yadain#meredilkibaat#merealfaaz#poem#shayri