हर वक्त आगे बड़ना चाहती हूं मै पर तेरे सासो की गर्मी रोक सी देती है तेरी जंजीरों से जितना भी छूटना चाहूं मै पर तेरी बातो की नरमी रोक सी देती है तेरी अखोंसे दूर होना चाहती मैं पर तेरी आंखो में जो प्यार दिख जाता है #dil #22 #dil #22