हम दर्द के मारे आशिक़ हैं, तुम हाल हमारा क्या जानो, अब आँखों से पीना छूट गया, है जाम सहारा क्या जानो..!! शीशे जैसा दिल लेकर हम, पत्थर से इश्क़ लगा बैठे, अंजाम हमें भी मालूम था, किस-किसने मारा क्या जानो..!! हर शब अश्क़ों की धारों में, इक गुजरा जमाना बहता है, जो मोती-सा दिखता है पानी, ये कितना खारा क्या जानो..!! इक अरसा हुआ सपने मेरी, आँखों की चौखट भूल गए, कोई ख्वाब न पूरा हुआ कभी, मैं खुद से हारा क्या जानो..!! मतलब का जमाना "मतवाला", कोई रिश्तों को कैसे समझे, अब अपने ही धोखा देते हैं, है कौन तुम्हारा क्या जानो..!! तुम #हाल हमारा क्या जानो...... #udquotes #udghazals #दर्द #आशिक़ #जाम #इश्क़