तानाशाही दिखा रही है अब वीभत्स स्वरूप ! किसानों को रोकने से, छवि हो गई कुरूप !! किसान आन्दोलन ने ही, सरकार को झुकाया था ! इसी प्रजा के बस में राजा, बेबस नज़र आया था !! आनन फानन रद्द करने पड़े थे तीन काले कानून ! सहम गया था देख किसानों के हुजूम का जुनून !! अब फिर ज़िद्द पकड़ने में हरगिज समझदारी नहीं ! किसान इस बार एमएसपी लिये बिना लौटेंगे नहीं !! सत्ताधीश दिल्ली से, उड़ गये आनन फानन में ! राहुल, न्याय यात्रा छोड़ पहुंच गये आंदोलन में !! जो हमारे उदर के लिये, दिन रात पसीना बहाता है ! अफ़सोस दो जून न मिलने पर, रस्सी झूल जाता है !! ना किसान उपज का सही दाम पाता ! न ही उपभोक्ता सही दाम पे उपज जुटा पाता !! कई गुना दाम वसूल कर, बिचौलिये मोटा नफा कमाते हैं ! सत्ता के गलियारों में सभी, मिल बैठ बांट खाते है !! जो किसान अन्न उपजा, हमरा पेट भरते है ! उसकी शुक्रगुजारी छोड़, हम उन पर अत्याचार करते हैं !! हे राम... - आवेश हिन्दुस्तानी 14.02.2024 ©Ashok Mangal #AaveshVaani #JanMannKiBaat #Anndaata #kisanandolan