तुम चाहे लाख दिये और मोमबत्तिया जलाओ, इनसे तुम्हारे जीवन में रौशनी होने वाली नहीं है। असली दीवाली तो उस दिन ही समझना जिस दिन तुम्हारे भीतर का दिया जले, उससे पहले तो सब अंधकार ही समझो | और राम के घर लौटने से तुम्हारा क्या लेना देना, बात तो उस दिन बनेगी जब तुम अपने घर अपने भीतर लौटोगे | तो बाहर की रौशनी और त्योहारो में मत उलझना भीतर की रौशनी को जगाने के उपाय खोजो | घर के द्वार खोलने से धन नहीं मिलेगा, मन के दरवाजे खोलो जिनके खुलते ही खजाने प्रगट हो जाते है | बाहर तो भटकाव है भीतर है समाधान | बाहर तो सिर्फ हार है असली त्यौहार तो भीतर है। ©Gyanendra Kumar Pandey #kukku2004 #Nojoto #nojotohindi #nojotoquote #Quotes #Life #Deepawali Author Munesh sharma 'Nirjhara'