नजरे मिला नही सकते हम उनसे, क्योंकी उनकी शख्शियत ही इतनी ऊँची है, आस्मा और जमी में कई फासलों की जितनी दुरी है, पास है वो दिल के इतने, ना जाने कैसी ये मजबूरी है, कद्र बहोत हमारी दिल में है उनके, और अहमियत भी पूरी है, बस डरते है इस जमाने से वो, क्या कहेंगे लोग, कुछ इन्ही वजहों से, शायद अब तक हम दोनों की ये कहानी ही अधूरी है.✍️✍️✍️ Written:- By Umesh kumar #अहमियत भी पूरी है,