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खाकी कभी प्यार के तो कभी गाली के बोल सुनाते हो, इ

खाकी

कभी प्यार के तो कभी गाली के बोल सुनाते हो,
इंसान हो तो इतनी जल्दी कैसे बदल जाते हो,
कभी तो कहते हो कि खाकी हमें बचाती है,
और कभी कहते हो कि खाकी हमें रुलाती है,

जब हम नहीं बदलते सर्दी या गर्मी में,
तो तुम इतनी जल्दी कैसे बदल जाते हो,
कभी तो पूजते हो खाकी को और कभी,
उसी खाकी पर हथियार चलाते हो,

चोर, डाकू, मर्डरर, रेपिस्ट को जन्म तुम देते हो,
और जब हम बचाने की कोशिश करते है तो हम पर ही ताने कस्ते हो,

चोरों को पकड़ नहीं पाते, रिश्वत लेते है, चोर है खाकी वाले,
कितनी आसानी से कह जाते हो,
कभी अपनी भी गलती को समझो,
तुम खुद कितनी बार झूठ बोल जाते है,

खाकी को कितनी आसानी से भ्रस्ट बताते हो,
जैसे खुद तो सच्चे मार्ग को अपनाते हो,
कभी रात भर जाग कर देखो कितनी बार झपकोगे,
और खाकी जो सिर्फ तुम्हारे लिए जगती है,
उसे ताना शाही दिखाते हो....

शर्म खाकी पे करने से पहले खुदपे शर्म करो,
अपने गिरेबान में झाकों पहले, फिर दूसरों पर ऊँगली करो,
2मिनट. की धूप तो बर्दास्त कर नहीं पाते हो,
और खाकी पर कामचोरी का आरोप लगाते हो....


कहना आसान और करना बड़ा मुश्किल होता है,
हमारा दिल भी रोता है जब कोई नागरिक चोटिल होता है,
हम आंसुयों को अन्दर ही बहाते है,
सबके लिए है सोचना इसिलए जज्बात नहीं दिखाते है,

रिश्ता ना होते हुए भी हर फर्ज़ निभाते है,
वक्त आने पर किसी के भाई तो किसी के बेटे बन जाते है हर फर्ज़ इस खाकी का अपने दिल से निभाते है,
झूठे तो तुम्हारे रिश्ते है जो वक्त ख़राब होने पर अपनों का साथ छोड़ जाते हो.......

जय हिन्द, जय खाकी 🇮🇳

             - सोनम राजपूत

©DrSonam police man
#Policeman #Police #Khaki 

#zindagikerang
खाकी

कभी प्यार के तो कभी गाली के बोल सुनाते हो,
इंसान हो तो इतनी जल्दी कैसे बदल जाते हो,
कभी तो कहते हो कि खाकी हमें बचाती है,
और कभी कहते हो कि खाकी हमें रुलाती है,

जब हम नहीं बदलते सर्दी या गर्मी में,
तो तुम इतनी जल्दी कैसे बदल जाते हो,
कभी तो पूजते हो खाकी को और कभी,
उसी खाकी पर हथियार चलाते हो,

चोर, डाकू, मर्डरर, रेपिस्ट को जन्म तुम देते हो,
और जब हम बचाने की कोशिश करते है तो हम पर ही ताने कस्ते हो,

चोरों को पकड़ नहीं पाते, रिश्वत लेते है, चोर है खाकी वाले,
कितनी आसानी से कह जाते हो,
कभी अपनी भी गलती को समझो,
तुम खुद कितनी बार झूठ बोल जाते है,

खाकी को कितनी आसानी से भ्रस्ट बताते हो,
जैसे खुद तो सच्चे मार्ग को अपनाते हो,
कभी रात भर जाग कर देखो कितनी बार झपकोगे,
और खाकी जो सिर्फ तुम्हारे लिए जगती है,
उसे ताना शाही दिखाते हो....

शर्म खाकी पे करने से पहले खुदपे शर्म करो,
अपने गिरेबान में झाकों पहले, फिर दूसरों पर ऊँगली करो,
2मिनट. की धूप तो बर्दास्त कर नहीं पाते हो,
और खाकी पर कामचोरी का आरोप लगाते हो....


कहना आसान और करना बड़ा मुश्किल होता है,
हमारा दिल भी रोता है जब कोई नागरिक चोटिल होता है,
हम आंसुयों को अन्दर ही बहाते है,
सबके लिए है सोचना इसिलए जज्बात नहीं दिखाते है,

रिश्ता ना होते हुए भी हर फर्ज़ निभाते है,
वक्त आने पर किसी के भाई तो किसी के बेटे बन जाते है हर फर्ज़ इस खाकी का अपने दिल से निभाते है,
झूठे तो तुम्हारे रिश्ते है जो वक्त ख़राब होने पर अपनों का साथ छोड़ जाते हो.......

जय हिन्द, जय खाकी 🇮🇳

             - सोनम राजपूत

©DrSonam police man
#Policeman #Police #Khaki 

#zindagikerang