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कहां लोग अपना घर - बार छोड़ - छाड़ कर, हताश होकर प

कहां लोग अपना घर - बार छोड़ - छाड़ कर, हताश होकर पलायन कर रहे, जहां लोग अपनी पुरखो कि जामिन छोड़कर दूसरे देशों की तरफ चल पड़े है, जहां इतनी मुसीबत है, जहां लोग ईश आस मैं हर पल रो रहे है की वह वहां से कब निकलेंगे, आजाद होंगे। वही दूसरे तरफ लोगो को मजा आ राहा हैं। तभी मेरे हाथो पर झाऊलाल जी के छूने का इष्पर्श हुआ,(शायद वह काफी देर से मुझे पुकार रहे थे)। उन्होंने मुझसे कहा क्या अंकित भाई किधर चले गए। मैं हड़बड़ी में बोला कही... कही... कही तो नही झाऊलाल भाई, उन्होंने बात को आगे बड़ाते हुए बोले लगता है रूस जीत जायेगा। मैं भी उनके हां मे हां मिलता चला गया। वो  कब अपनी बात कह कर चले गए मुझे पता ही नही चला जब मैं अपने सोच से निकला तो पता चला की यहां मेरे व चिड़ियों के कलरव की अलावा और दूजा कोई भी नहीं था। बात सिर्फ झाऊलाल जी की नहीं है यह बात उन तमाम लोगों की है जो अपनी दिन दशा न देखकर दूसरे के दिन दशा पर हंसते हैं'....। गलती तो इनकी भी नहीं है, जिस प्रकार न्यूज़ एंकर न्यूज़ दिखाते हैं उससे तो कोई भी प्रभावित होगा। वह चाहे मैं हूं या कोई भी हो। ये युद्ध के दिन उनके लिए तो स्वास का काम कर रही है वह टेबल ठोक - ठोक कर बड़ी - बड़ी आंखें ऐसी बात बोलते जैसे अभी अभी युद्ध स्थल से चले आ रहे हो। वह ऐसे ऐसे बातें करते हैं जिसको सुन कर कोई भी विश्वास कर ले कि हां इस देश में है घटना घटित हुआ है। कुछ न्यूज़ एंकर ऐसे बोलते हैं कि वह अभी-अभी पुतिन से मिलकर आ रहे है। बोलेंगे आज की सबसे बड़ी खबर, सबसे पहले हमारी खबर में' वह कुछ बातें ऐसे बोलते हैं जैसे लगता है कि वह अभी अभी पुतिन से मिलकर चले आ रहे हो। वह बोलेंगे देखिए देखिए देखिए  "सबसे पहले क्या चल रहा है पुतिन के दिमाग क्या चल रहा है  सबसे पहले हमारी न्यूज़" जिस तरह वह रूस की रणनीतियां बताते हैं अगर जो सरकार देख ले तो बेहोश हो जाएगी कि जो रणनीति हम बनाये ही नहीं वह इन्हे कैसे पता चल जाता है।। आज तो असली युद्ध यह न्यूज़ एंकर वाले लड़ रहे हैं। वह अपने-अपने न्यूज़ चैनल इस तरह बढ़ा चढ़ा कर न्यूज दिखाते हैं कि आम जनता उस पर आसानी से विश्वास कर ले, और उन्हीं का चैनल देखें। मुझे तो समझ में ही नहीं आता यह लोग लड़ते ही क्यों है।

"जब सारे युद्ध समाप्त हो जाएंगे
तब भी तितली इतनी ही सुंदर रहेगी"।।

©Expoler Ankit Trivedi #आर्टिकल  next page second page #treanding #Fantastic 

#selfhate
कहां लोग अपना घर - बार छोड़ - छाड़ कर, हताश होकर पलायन कर रहे, जहां लोग अपनी पुरखो कि जामिन छोड़कर दूसरे देशों की तरफ चल पड़े है, जहां इतनी मुसीबत है, जहां लोग ईश आस मैं हर पल रो रहे है की वह वहां से कब निकलेंगे, आजाद होंगे। वही दूसरे तरफ लोगो को मजा आ राहा हैं। तभी मेरे हाथो पर झाऊलाल जी के छूने का इष्पर्श हुआ,(शायद वह काफी देर से मुझे पुकार रहे थे)। उन्होंने मुझसे कहा क्या अंकित भाई किधर चले गए। मैं हड़बड़ी में बोला कही... कही... कही तो नही झाऊलाल भाई, उन्होंने बात को आगे बड़ाते हुए बोले लगता है रूस जीत जायेगा। मैं भी उनके हां मे हां मिलता चला गया। वो  कब अपनी बात कह कर चले गए मुझे पता ही नही चला जब मैं अपने सोच से निकला तो पता चला की यहां मेरे व चिड़ियों के कलरव की अलावा और दूजा कोई भी नहीं था। बात सिर्फ झाऊलाल जी की नहीं है यह बात उन तमाम लोगों की है जो अपनी दिन दशा न देखकर दूसरे के दिन दशा पर हंसते हैं'....। गलती तो इनकी भी नहीं है, जिस प्रकार न्यूज़ एंकर न्यूज़ दिखाते हैं उससे तो कोई भी प्रभावित होगा। वह चाहे मैं हूं या कोई भी हो। ये युद्ध के दिन उनके लिए तो स्वास का काम कर रही है वह टेबल ठोक - ठोक कर बड़ी - बड़ी आंखें ऐसी बात बोलते जैसे अभी अभी युद्ध स्थल से चले आ रहे हो। वह ऐसे ऐसे बातें करते हैं जिसको सुन कर कोई भी विश्वास कर ले कि हां इस देश में है घटना घटित हुआ है। कुछ न्यूज़ एंकर ऐसे बोलते हैं कि वह अभी-अभी पुतिन से मिलकर आ रहे है। बोलेंगे आज की सबसे बड़ी खबर, सबसे पहले हमारी खबर में' वह कुछ बातें ऐसे बोलते हैं जैसे लगता है कि वह अभी अभी पुतिन से मिलकर चले आ रहे हो। वह बोलेंगे देखिए देखिए देखिए  "सबसे पहले क्या चल रहा है पुतिन के दिमाग क्या चल रहा है  सबसे पहले हमारी न्यूज़" जिस तरह वह रूस की रणनीतियां बताते हैं अगर जो सरकार देख ले तो बेहोश हो जाएगी कि जो रणनीति हम बनाये ही नहीं वह इन्हे कैसे पता चल जाता है।। आज तो असली युद्ध यह न्यूज़ एंकर वाले लड़ रहे हैं। वह अपने-अपने न्यूज़ चैनल इस तरह बढ़ा चढ़ा कर न्यूज दिखाते हैं कि आम जनता उस पर आसानी से विश्वास कर ले, और उन्हीं का चैनल देखें। मुझे तो समझ में ही नहीं आता यह लोग लड़ते ही क्यों है।

"जब सारे युद्ध समाप्त हो जाएंगे
तब भी तितली इतनी ही सुंदर रहेगी"।।

©Expoler Ankit Trivedi #आर्टिकल  next page second page #treanding #Fantastic 

#selfhate