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एक सुनहरी सुबह थी, जब मैंने अपनी माँ को एक पुरानी

एक सुनहरी सुबह थी, जब मैंने अपनी माँ को एक पुरानी चिट्ठी ढूंढ़ते हुए पाया। चिट्ठी में लिखा था, "माँ, तुम मेरे जीवन की सबसे बड़ी शिक्षिका हो।" मैंने उसे गले लगाकर कहा, "धन्यवाद, माँ, जीने का सही तरीका सिखाने के लिए।"

©Rohit
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