मेरी आंखों में जो बस गए ह, सपने मेरे बाबुल के। मुझे उनको सच बनाना है , मुझे बाबुल का नाम कमाना है।। दुनिया की मुझको परवाह नहीं,गैरो की मुझको जरूरत नहीं। मेरे संग है प्यार तेरा, किसी और की मुझको चाहत नहीं।। क्या खोया है क्या पाया है,बस, मुझे बाबुल का नाम कमाना है।। कितनी चुभन थी कितनी तड़प थी, आंखों में कितना दर्द था। हो रहें हैं दूर हर पल,इसका भी एहसास था।। कर ना सके कुछ कह ना सके, कितना कुछ बताना है। कितनी गहरी हैं ये जख्मों की परछाइयां। जान हमारी ले ना ले ये हमारी तन्हाईयां।। संभल -संभल के हम चले, कि रास्ता खुद ही बनाना है। #tributetomydad