चाहतों का दायरा जब भी हम बढ़ाते थे। होले से थप्पड़ मार.... वह सीने से लिपट जाते थे। 🕊️ #नदान_परिंदा 🕊️ #चाहतों का दायरा जब भी हम बढ़ाते थे। होले से #थप्पड़ मार.... वह सीने से लिपट जाते थे। #नदान_परिंदा #yqbaba #yqtales #yqquotes #नमस्ते_इंडिया #yqwriters