दिल माँग रहा है क्यूँ दुआ आग में जलने की इस रात में जीने की उस रात में मरने की जो होश में ना आऊँ मैं इजाज़त दे साथ पिघलने की कभी बात बदलने की कभी साथ में चलने की छा जाओ तुम मुझपे है बात मचलने की पहले नशे में गिरने की फिर पकड़कर हाथ संभलने की... ♥️ Challenge-744 #collabwithकोराकाग़ज़ ♥️ इस पोस्ट को हाईलाइट करना न भूलें :) ♥️ रचना लिखने के बाद इस पोस्ट पर Done काॅमेंट करें। ♥️ अन्य नियम एवं निर्देशों के लिए पिन पोस्ट 📌 पढ़ें।