कहीं सुर,कहीं ताल,कहीं लय, में नई भाव भंगिमाएं है! ऐसी है मेरे "रंगमंच" की दुनिया जिसमें बहती नई सरिताएं है कभी गम,कभी खुशी, कभी निराशा, में नई अभिलाषाएं है! कहीं गिरना,फिर उठना,फिर से उठकर चलना, "रंगमंच" ये सिखाए है! ऐसी है मेरे रंगमंच की दुनिया जिसमें रोज़ नई यात्राएं है! The nidhi sharma 💃🍁🌿☘️🌱🍀 #रंगमंच