ये बढ़ती हुई घड़ी की सुई मुझे हर पल मौत की तरफ खींच रही है, मगर जब मुड़कर देखा तो मेरी जिंदगी सिर्फ प्यार और दोस्ती के बीच रही है। ये बीतता हुआ हर पल कोई साज़िश रच रहा है, अब तो बस तन्हाई की भीड़ और सन्नाटे का शोर मच रहा है।... 🥺🥺 # Zindagi ka Sach...