मैं सपने में चाँद पर गई _________________________ अंधियारी रात , मैं बादलों की सैर कर रही थी उन पर बैठ गोते खा रही थी । कि यूँ अचानक दिखा एक चमचमाता गोला, उत्सुकता वश मैं उसके पास गई। ऐसा लग रहा था, मानो आसमान की काली चुनरी पर; किसी ने सितारों के साथ एक बड़ा सा नगीना टाँक दिया हो। मैंने उसे स्पर्श किया, और उसकी कुछ चमक मेरे हाथ में रह गई। स्वप्न से जागी तो मेरे हाथों में मेरी माँ का हाथ था। बस यूँ ही एक ख़्याल #चाँद #अनाम_ख़्याल #रात्रिख़्याल #माँ #mynightthoughts #latenightthoughtbazaar #anumika