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आज हवाओ की तासीर कुछ कम है पता करो रहमत का दरवाजा

आज हवाओ की तासीर कुछ कम है
पता करो रहमत का दरवाजा खुला कम है

जो कल तक आँधी की तरह चल रही थी 
आज क्या हुआ है जो कुछ खुली कम है

इस तरह से दिन भर गर्मी का आलम 
और उसमें थोड़ा बूंदाबांदी बहुत कम है 

क्या हुआ है जो इस तरह मौसम बदल गया 
कहीं कुछ हुआ है मगर यहाँ कुछ कम है

अपने दिल का हाल क्या बतायें जाना
आरिफ ये गर्मी अब भी बहुत कम है #NojotoQuote आज हवाओ की तासीर कुछ कम है
पता करो रहमत का दरवाजा खुला कम है

जो कल तक आँधी की तरह चल रही थी 
आज क्या हुआ है जो कुछ खुली कम है

इस तरह से दिन भर गर्मी का आलम 
और उसमें थोड़ा बूंदाबांदी बहुत कम है
आज हवाओ की तासीर कुछ कम है
पता करो रहमत का दरवाजा खुला कम है

जो कल तक आँधी की तरह चल रही थी 
आज क्या हुआ है जो कुछ खुली कम है

इस तरह से दिन भर गर्मी का आलम 
और उसमें थोड़ा बूंदाबांदी बहुत कम है 

क्या हुआ है जो इस तरह मौसम बदल गया 
कहीं कुछ हुआ है मगर यहाँ कुछ कम है

अपने दिल का हाल क्या बतायें जाना
आरिफ ये गर्मी अब भी बहुत कम है #NojotoQuote आज हवाओ की तासीर कुछ कम है
पता करो रहमत का दरवाजा खुला कम है

जो कल तक आँधी की तरह चल रही थी 
आज क्या हुआ है जो कुछ खुली कम है

इस तरह से दिन भर गर्मी का आलम 
और उसमें थोड़ा बूंदाबांदी बहुत कम है