कितने ऐश उड़ाते होंगे कितने इतराते होंगे जाने कैसे लोग वो होंगे जो उस को भाते होंगे यारों कुछ तो हाल सुनाओ उनकी क़यामत बांहों का वो जो सिमटते होंगे इन में वो तो मर जाते होंगे जौन