है दिल में ख़लिश पर ज़ुबां पे ग़ज़ल है तिरे बिन यही हाल बस आज-कल है मिरी शायरी सिर्फ़ तेरे लिए हो ये रस्म-ए-मुहब्बत की मेरी पहल है कभी तू मुझे याद करता तो होगा फिर इक कॉल कर लेने में क्या ख़लल है मिरा वक़्त बदला मुहब्बत न बदली मिरा कल मिरा आज तू मेरा कल है मिरे ज़िक्र में फ़िक्र में तू है शामिल तुझे सोचना रोज़मर्रा अमल है तिरे हिज्र में डूबता जा रहा अब मिरी आरज़ूओं का ये जल महल है किसी और का 'ख़्वाब' कैसे ये देखें मिरी आँखों का तू अबद है अज़ल है #NojotoQuote #ekkhwabsiladki #ghazalbykhwab #ghazal #hindi #urdu #nojoto