#OpenPoetry किसी बेवकूफ को सलाह हाँ मुझे मिली है रास्तो के दोराहे पर मन्ज़िल हाँ मुझे मिली है किसी रात को सुबह हाँ मुझे मिली है बेरंग ख्यालों को नए रंग के चेहरे सी हाँ मुझे मिली है आधे पक्के लम्हों के पूरे पलों सी हाँ मुझे मिली है एक पूरी दुआ सी दोस्त और एक नए मज़हब सी हाँ मुझे मिली है वो मिली