जब भी मुझे ख़्याल आया तिरा नाम आया वफ़ा पे बात आई तो तिरा नाम आया तन्हाइयों से उभरने कि कोशिश की है जब भी मैंने कोशिश कि तिरा नाम आया मुझे चैन से क्यों सोने नहीं देता ये सवाल जब भी आया तिरा नाम आया महफिल में भी बात चली मोहब्बतों पे ज़िक्र मोहब्बत पे आई तो तिरा नाम आया बड़े शौक से देखा करता था तुझे दिन रात कोई चेहरा सामने आया तेरा नाम आया कहानी सुन सुन कर थक गया हूं "मुमताज़" जिस से भी मुखातिब हुआ तिरा नाम आया ©MM Mumtaz #MereKhayaal #urdu_poetry #khayal #Dil_se #love❤ #nadan #love_poetry #Ishq❤