जब जब खोलती हूँ वो पुरानी किताब यादें ताजा हो उठती हैं महक जाती है फ़िजा वो गुलाब की पंखुड़िया आज भी महकती है " साप्ताहिक काव्य प्रतियोगिता " (Post 22) सभी दोस्तों को मेरा प्यार भरा "नमस्कार" 🎀 आप सभी से मेरा निवेदन है दोनों शीर्षक पर आप एक एक बार Collab कर सकते है, अपनी बहुमूल्य रचनाएं शीर्षक को ध्यान में रखते हुए लिखें ,