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सुनसान अंधेरे में, मैं अकेला कैद हूं। न छोड़ रही म

सुनसान अंधेरे में,
मैं अकेला कैद हूं।
न छोड़ रही मुश्किलें,
न खुद से आजाद हूं।
लफ्ज हवा को तक न बताए,
बस मन में ही कैद हूं।
खुद की आवाज दबाए बैठा,
एक दूसरी आवाज हूं।

©Kailas Thakare #Preying
सुनसान अंधेरे में,
मैं अकेला कैद हूं।
न छोड़ रही मुश्किलें,
न खुद से आजाद हूं।
लफ्ज हवा को तक न बताए,
बस मन में ही कैद हूं।
खुद की आवाज दबाए बैठा,
एक दूसरी आवाज हूं।

©Kailas Thakare #Preying