Nojoto: Largest Storytelling Platform

दूर से ही ललकारता , "कौन ?" मै जवाब देता, "दोस्त ।

दूर से ही ललकारता , "कौन ?"
मै जवाब देता, "दोस्त । "
और पल भर को बैठ जाता 
उसकी ठंढी छाँव में
दरअसल शुरू से ही था हमारे अन्देशों में
कहीं एक जानी दुश्मन हिरोशिमा
दूर से ही ललकारता , "कौन ?"
मै जवाब देता, "दोस्त । "
और पल भर को बैठ जाता 
उसकी ठंढी छाँव में
दरअसल शुरू से ही था हमारे अन्देशों में
कहीं एक जानी दुश्मन हिरोशिमा

हिरोशिमा #कविता