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White कभी गरजता, कभी बरसता इस नादान परिंदे का अंबर

White कभी गरजता, कभी बरसता
इस नादान परिंदे का अंबर है,
स्वाद है खारा लफ्जो का  मगर, 
पिता अनलोम मोतियों का समंदर है

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  #Fathers Day