दुख में औरो के बड़े खुश होते है लोग, ना जाने क्यूँ खुशी से औरो की जलते है लोग, पर भूल क्यूँ जाता है इंसान कि हरेक के हिस्से में सुख-दुख सब है, क्योकि ये सब बांटने वाला इंसान नही ऊपर बैठा रब है !