तेरी खुशामद में क्या लिखे ये अल्पबुद्धि सोच रहा है, ह्रदय की थाह, मस्तिष्क की उपज से कुछ खरोंच रहा है.... बन जा तू मेरा सहपथिक हमारे सामीप्य में आकर, आ जिन्दगी में मेरे समीप, इतना पृथक क्यूं सोच रहा है.... #मेरीकलमसे #राहुलयादव #निशब्द #मेरीकलमसे #राहुलयादव #निशब्द