उम्मीद की एक लौ जलाए बैठे हैं तेरे आने की दर पे आस लगाए बैठे हैं चुपके से गुजर न जाओ, "दिसंबर" की तरह इसलिए!झरोखों से चिलमन हटाए बैठे हैं..!! PC-- me #yqbaba #yqdidi #yqhindi #झरोखा #दिसंबर #आस #लौ #yqthoughts