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कभी महिला दिवस मनाया जाता है तो कभी बेटी दिवस मनाय

कभी महिला दिवस मनाया जाता है तो कभी बेटी दिवस मनाया जा रहा है, कोई पुरुष दिवस भी मनाए, कोई बेटा दिवस भी बताए कि कब मनाया जाएगा, कि कभी तो मैं अपने बेटों की तारीफ़ कर सकूँ कि बेटे कभी भी बेटियों से कम नहीं रहे हैं, अपने भाइयों को याद कर बता सकूं कि मेरे विदा होने के बाद भी उन्होंने घर को संभाला है, अपने पति के परिवार के प्रति समर्पण और  योगदान को बता सकूँ, बता सकूँ कि मेरे पिता ने कितना कुछ दिया है पूरे परिवार को... 
बेटा हो या बेटी कोई फर्क नहीं होता। बस नजरिया है, जैसे कि दूर बजते नगाडे़ कानों को अच्छे लगते हैं...
अब आप भी बदलो। अपने बहू बेटे को भी बेटी की तरह स्नेह और प्रेम देकर देखो। बेटियों को भी अपने ससुराल में अपनी भूमिका निबाहने का आशीर्वाद दो। मैं तो बेटा-बहू दिवस ही मना रही हूँ...ताकी हर बेटी अपने घर में खुश रह सके। बिटिया दिवस
कभी महिला दिवस मनाया जाता है तो कभी बेटी दिवस मनाया जा रहा है, कोई पुरुष दिवस भी मनाए, कोई बेटा दिवस भी बताए कि कब मनाया जाएगा, कि कभी तो मैं अपने बेटों की तारीफ़ कर सकूँ कि बेटे कभी भी बेटियों से कम नहीं रहे हैं, अपने भाइयों को याद कर बता सकूं कि मेरे विदा होने के बाद भी उन्होंने घर को संभाला है, अपने पति के परिवार के प्रति समर्पण और  योगदान को बता सकूँ, बता सकूँ कि मेरे पिता ने कितना कुछ दिया है पूरे परिवार को... 
बेटा हो या बेटी कोई फर्क नहीं होता। बस नजरिया है, जैसे कि दूर बजते नगाडे़ कानों को अच्छे लगते हैं...
अब आप भी बदलो। अपने बहू बेटे को भी बेटी की तरह स्नेह और प्रेम देकर देखो। बेटियों को भी अपने ससुराल में अपनी भूमिका निबाहने का आशीर्वाद दो। मैं तो बेटा-बहू दिवस ही मना रही हूँ...ताकी हर बेटी अपने घर में खुश रह सके। बिटिया दिवस

बिटिया दिवस