गमों के अंधेरों से हो गई, मुझे मोहब्बत, इन्हीं अंधेरों में रहने की पड़ गई आदत। मना चुका हूं खुशियां को मैंने कई दफा, खुशियां तो चली गई मुझसे होके खफा। एक गम है जो, निभा रहे मुझसे बफाएं, छोड़ दो साथ मेरा करता हूं सदा दुआएं बन गया है जीवन मेरा गमों की जागीर, गमों की दौलत ने बना दिया मुझे अमीर। #गमों के अंधेरे