भरा है दर्द जो दिल में, सुनाऊँ मैं भला कैसे? मिला है ज़ख्म जो उनसे,दिखाऊँ मैं भला कैसे? हुए हालात अब ऐसे,नहीं कुछ भी समझ आये- उन्हें सब बात अपनी ये, बताऊँ मैं भला कैसे? #मुक्तक #जख्मी_दिल #विश्वासी