अब दुख-दास्तान सुनाने में मुझे आती और अधिक हया नहीं क्योंकि आज भी गाया गया नहीं उतना बेहतर गाना मुझसे। आज भी खुदा ने संगीत-सुख-सुकून देने से मना कर दिया, बेहतर गाना सुनाना सिर्फ़ सपना कर दिया। यह दुख अब है नया नहीं अत: आती है हया नहीं अब दुख-दास्तान सुनाने में मुझे; संगीत पर कविता बनाने में मुझे। ...✍️विकास साहनी ©Vikas Sahni #हया_से_जुदा #AloneInCity