कहीं दहशत,कहीं गर्दिश,कहीं कोहराम मचा है। इस कोरोना नाम की महामारी नें,कैसा चक्रव्यूह रचा है।। जो लाँघ गया लक्ष्मण रेखा,मुसीबत में पड़ गया। जो घर में रुक गया,बस वो ही महफूज बचा है।। ( घर में रहो ~ सुरक्षित रहो ) ©Viswa Sachan #covidindia भरथ