वैसे ज़मी पर हूँ , पर एक उड़ान बाकि है.... गुज़रा वक्त जो भी... हासिल करने को अब भी , पूरा आसमाँ बाकि है...!! दरमियाँ दूरी कहने को , साथ कह लीजिये... बीत जाये भी , अगर ये रात कहने को नया साल कह लीजिये...!!