Conservation मेरी ही तो कोख में तुम पलते हो, मेरी पीर को भी तुम महसूस करो, मेरी साँस से ही तुम साँस लेते हो, मेरी साँसों को तुम महफूज रखो। ये पेड़-पौधे,सरिताएं और समीर ये उपवन, पर्वत, झील, झरने, नीर, ये मैंने ही तो तुमको उपहार में दिये, अब इनका तुम मिलकर सम्मान करो। विकास के लिए मेरा ना नाश करो, स्वार्थ तज सभ्यता का विनाश रोको, क्रूरता को तज, व्यर्थ में हंसना बंद करो, अनुसंधान संग मेरा भी तो ध्यान करो। जिंदगी की खुशियों का ख़याल करो, विज्ञान में अंधा बनकर ना बवाल करो, क्षणिक आनंद का तुम अभिमान छोड़ो, मुझे बचा, निज कर्तव्यों का भान करो। -Vimla Choudhary 28/7/2021 ©vks Siyag #ConservationDay #worldconservationday #conservation #green #Forest #Nojotoimageprompt #poem #nojotohindi #vkssiyag #VimlaChoudhary