World Poetry Day 21 March मेरे हर ज़ज़्बात को तुम से, तुममें उकेरती हूँ, कभी मेरी, कभी मेरे अपनों की आपबीती लिखती हूँ.. जब जो देखा, जिया, महसूस किया तब-तब कलम लेकर बैठती हूँ.. कभी दर्द तो कभी प्रेम लिखती हूँ.. मैं - कविता तुममें, मुझमें बसे हर रंग बिखेरती हूँ..।। ©Puja Kumari✍️ #worldPoetryDay2020 Poetry is in my soul #Nojoto