क्या कहा तू मुझ से मोहबत नहीं करती. अरे अगर ये बात थी तो तू मुझे बाहो में कभी ना भरती. ये सकून हर किसी के मुकदर में नहीं तूँ खुदा का कर शुकर जा. के ईशक तो तुझे है हमसे अब मर्जी तेरी तू मान ले जा मुकर जा. ©Singh Manpreet मान ले #Books