तो आज कुछ चीजें आपसे बाँटना चाहती हूँ, पिछले वर्ष भी मैंने जन्माष्टमी पर यही सब आप सबसे साझा किया था.., जो कृष्ण ने महाभारत के माध्यम से हमें समझाने की कोशिश की और मेरे गुरु ने मुझे. उनका विशेष धन्यवाद करना चाहूंगी उनके निर्देशानुसार ही कुछ चीजें अपने जीवन में ढाल पायी हूँ और कुछ पर काम कर रही हूँ.
मुझे याद है बचपन में चीजें तब ज्यादा अच्छे से याद रहती थीं जब मैं उन्हें कहीं लिख दिया करती थी,. आज भी बातें लम्बे समय तक मेरा मार्गदर्शन करती रहें मैं सभी बातें दनादन अपनी डायरी में सहेज लेती हूं.
आज कुछ नया नहीं लिखा बस जो लिखा था उसे ही बार-बार पढ़ती रही,. कभी-कभी बस थम जाना चाहिए ताकि किसी के अनमोल कथन, वाणी और वचन अंदर तक शांति से भर दें....मुझे तो भरते हैं. शायद इनमें से कोई बात आपके भी किसी काम आ जाये,..
वह बातें सब इस प्रकार हैं :