कभी कभी जब बात नही हो पाती अपने य़ारों से , अपने दिल के सब जजबात कह देता हूँ दीवारों से ...,.. दीवारों को भी जैसे मेरी आदत सी हो गयी है , अपने सब भेद खोलती है यों लगता है जैसे दीवारें मुझसे बोलती हैं ...... Welcome to the day 22 of #YoPeWriMo or the YourQuote Personification Writing Month i.e January. Here's my try: The walls of my home whisper about the treasure that is hidden underneath the floor. #personify #wallsofmyhome #YourQuoteAndMine Collaborating with YourQuote Baba